Aaj ki Baat mere Sath !

कभी ये क्यों नहीं पूछा गया कि इराक में 10 लाख मुसलमानों को मौत के घाट उतारने वाले अमेरिका का धर्म क्या है ?
कभी ये क्यों नहीं कहा कि लाखों फिलिस्तीनियों की हत्या करने वाले इस्राएलियों का धर्म क्या है ?
कभी ये कहने के लिये ज़बान क्यों नहीं चली कि हजारों रोहिंग्याई मुसलमानों के हत्यारे भिक्षुओं का धर्म क्या है ?
कभी ये कहने की हिम्मत क्यों नहीं जुटा पाए कि गुजरात में 5000 मुसलमानों को जला कर मार डालने वालों का धर्म क्या था ?
आखिर जब किसी (नाम धारी) मुस्लिम संगठन द्वारा की गई हत्याएं इस्लाम के खाते में जमा कर दीं जाती हैं तो ईसाईयों, यहूदियों, बौद्धों और हिन्दुओं द्वारा की गई हत्याओं का क्रेडिट उनके धर्म को क्यों नहीं दे देते...??

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