Aaj ki baat

मुंबई. भारत के महाराष्ट्र राज्य के पूर्व आईजी पुलिस ने कहा है कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ, भारत का पहले नंबर का आतंकवादी संगठन है।एस. एम. मुशरिफ ने कहा कि देश में किसी भी आतंकवादी संगठन ने आरडीएक्स का इस्तेमाल इस प्रकार से नहीं किया है जिस प्रकार से आरएसएस ने किया है। उन्होंने कहा कि आतंकवाद फैलाने के जुर्म में आरएसएस और इसके सहयोगी दलों विरुद्ध कम से कम 18 चार्जशीटें दाखिल की जा चुकी हैं।

मुशरिफ ने कहा कि देश की सुरक्षा एजेंसी आईबी इंटेलिजेंस ब्यूरो भी आरएसएस के साथ मिलकर काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि इंटेलिजेंस ब्यूरो ऐसी एजेंसी है जो अपने काम के लिए सरकार या किसी और को जवाबदेह नहीं है इसी बात का फायदा उठा कर इसका इस्तेमाल ग़लत तरीके से किया जा रहा है। महाराष्ट्र के पूर्व आई जी ने कहा कि सरकारें आती हैं और चली जाती हैं लेकिन आईबी अपने काम में जुटी रहती है और उसके हर बयान को सच माना जाता रहा है।

अपने संबोधन में महाराष्ट्र के पूर्व पुलिस प्रमुख ने कहा कि हेमंत करकरे की हत्या में खुफिया ब्यूरो, आईबी का हाथ है। उन्होंने कहा कि करकरे, आतंकी गतिविधियों में हिंदू कट्टरवादी संगठनों की भूमिका की जांच कर रहे थे। वे मुंबई पुलिस के आतंकवाद निरोधी दस्ते एटीएस के मुखिया थे। मुशरिफ ने कहा कि करकरे की हत्या में आईबी का हाथ होने के पुख्ता सबूत थे किंतु इसे साबित करने की सारी कोशिशें विफल रहीं। उन्होंने कहा कि स्व तंत्र जांच की हमारी मांग हमेशा नकार दी गई। जब तक इसके लिए बड़े पैमाने पर जन आंदोलन नहीं चलाया जाएगा, तबतक इसे साबित नहीं किया जा सकेगा।

महाराष्ट्र राज्य के पूर्व आईजी पुलिस ने कहा कि जेएनयू मामले के पीछे भी आरएसएस का हाथ है। उन्होंने कहा कि आरएसएस या राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ऐसी चालों के जरिये भारत को हिन्दू राष्ट्र में परिवर्तित करना चाहता है। उनका कहना था कि आरएसएस, एक व्यवस्था के अन्तर्गत काम रही है और यह ब्राह्मणवादी व्यवस्था है।


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